इस्राएल पर ईरान के हमले के बाद दुनिया ने क्या कहा
इस्राएल पर ईरान के अभूतपूर्व हमले के बाद दुनिया भर से प्रतिक्रियाएं आ रही हैं. ज्यादातर देशों ने तनाव घटाने और संबंधित पक्षों से संयम बरतने की मांग की है.
जो बाइडेन, राष्ट्रपति, अमेरिका
अमेरिकी राष्ट्रपति ने वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की तस्वीर एक्स पर डाल कर कहा है, "मैंने राष्ट्रीय सुरक्षा टीम से अभी मुलाकात कर इस्राएल के खिलाफ हमले की जानकारी ली है. ईरान और उसके प्रॉक्सियों (छद्म सहयोगियों) के हमले के खिलाफ इस्राएल की सुरक्षा के प्रति हमारी प्रतिबद्धता अटल है."
ओलाफ शॉल्त्स, चांसलर, जर्मनी
जर्मनी चांसलर ने एक्स पर लिखा है, "इस्राएली जमीन पर ईरान ने जो हमला किया है वह अनुचित और बेहद गैरजिम्मेदाराना है. ईरान ने इलाके में इसके और बढ़ावे का खतरा पैदा किया है. जर्मनी, इस्राएल का साथ खड़ा है और हम अपने सहयोगियों से स्थिति पर चर्चा करेंगे."
विदेश मंत्रालय, भारत
भारत के विदेश मंत्रालय ने संबंधित पक्षों से तुरंत तनाव घटाने, संयम दिखाने और हिंसा का रास्ता छोड़ कर कूटनीति के रास्ते पर लौटने की मांग की है. मंत्रालय का कहना है कि वह स्थिति पर नजर रखे हुए है और इलाके में मौजूद दूतावास भारतीय समुदाय के साथ संपर्क में है.
ऋषि सुनक, प्रधानमंत्री ब्रिटेन
ब्रिटिश प्रधानमंत्री ने इस हमले की निंदा की और कहा, "इससे तनाव और इलाके में अस्थिरता बढ़ने का खतरा है. ईरान ने एक बार यह दिखाया है कि वह अपने पीछे अराजकता के बीज बोने की इच्छा रखता है.
विदेश मंत्री, फ्रांस
फ्रांस के विदेश मंत्री स्टेफान सीजोने ने एक्स पर कहा है, "इस अभूतपूर्व हमले का फैसला करने में, ईरान अस्थिरता की हरकतों और सैन्य बढ़ावा देने के मामले में एक नए स्तर पर पहुंच गया है.
विदेश मंत्रालय, रूस
रूसी विदेश मंत्रालय का ईरानी हमलों के बाद बयान जारी कर कहा है, "हम इलाके में एक और खतरनाक बढ़ावे पर चिंता जताते हैं, हम इसमें शामिल सभी पक्षों से संयम बरतने की मांग करते हैं." रूस ने माना है कि यह हमले दमिश्क में ईरानी कॉन्सुलेट पर हुए हमले के बाद आत्मरक्षा के अधिकार के तहत किए गए हैं.
विदेश मंत्रालय, सऊदी अरब
सऊदी अरब के विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा है, "सभी पक्ष अधिकतम संयम बरतें और इलाके और इसके लोगों को युद्ध के खतरों से मुक्त रखें." सऊदी अरब ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद से "अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा बनाए रखने की अपनी जिम्मेदारी संभालने का अनुरोध किया है."
विदेश मंत्रालय, मिस्र
मिस्र के विदेश मंत्रालय ने दुश्मनी फैलने पर "गहरी चिंता" जताते हुए सभी पक्षों से "अधिकतम संयम" बरतने को कहा है. मिस्र का यह भी कहना है कि वह विवाद में शामिल पक्षों से सीधे संपर्क कर स्थिति को संभालने की कोशिश करेगा.
अंटोनियो गुटेरेश, महासचिव, संयुक्त राष्ट्र
संयुक्त राष्ट्र महासचिव ने हमलों की निंदा की है और कहा है, "इस्राएल पर बड़े पैमाने पर हुए हमले गंभीर बढ़ावा हैं जोकि इस्लामिक रिपब्लिक ऑफ ईरान ने किया है." अंटोनियो गुटेरेश ने यह भी कहा, "मैं क्षेत्रीय स्तर पर विध्वंसकारी बढ़ावे के असल खतरे को लेकर बहुत चिंतित हूं." उन्होंने सभी पक्षों से कहा है, "ऐसी हरकतों से बचें जो मध्यपूर्व में कई मोर्चों पर बड़े सैन्य विवादों की ओर ले जा सकती हैं."
जोसेप बोरेल, विदेश नीति प्रमुख, यूरोपीय संघ
यूरोपीय संघ के विदेश मामलों के प्रमुख जोसेप बोरेल ने एक्स पर जारी संदेश में कहा है कि हमले, "असाधारण बढ़ावा और क्षेत्रीय सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा हैं."
विदेश मंत्रालय, चीन
चीन के विदेश मंत्रालय ने भी संयम बरतने की अपील की है और हमले को "गाजा विवाद में ताजा उबाल" करार देते हुए संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के हाल के प्रस्ताव को लागू करने की मांग की है. इस प्रस्ताव में "संघर्ष को तुरंत बंद" करने की बात कही गई है. चीन ने अंतरराष्ट्रीय समुदाय और खासतौर से उन देशों से इलाके में शांति और स्थिरता बहाल करने में रचनात्मक भूमिका निभाने को कहा है, जिनका वहां असर है.
विदेश मंत्रालय, यूक्रेन
यूक्रेनी विदेश मंत्रालय ने ईरान के हमले की "कड़ी निंदा" की है. विदेश मंत्रालय का कहना है, "ये हमले यह भी दिखाते हैं कि लोकतंत्र की वैश्विक सीमाओं की रक्षा के लिए मुक्त दुनिया की ताकतों का एकजुट होना क्यों जरूरी है."